पठानकोट में चक्की पुल से आवाजाही बंद: हिमाचल जाने के लिए रूट डायवर्ट; अवैध माइनिंग से हुआ जर्जर, भारी बारिश के चलते लिया फैसला
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पठानकोट में चक्की पुल से आवाजाही बंद: हिमाचल जाने के लिए रूट डायवर्ट; अवैध माइनिंग से हुआ जर्जर, भारी बारिश के चलते लिया फैसला


पठानकोट3 घंटे पहले

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पंजाब को पठानकोट के रास्ते हिमाचल से जोड़ने वाला NH पर बना चक्की पुल अवैध माइनिंग के चलते काफी हद तक क्षतिग्रस्त हो चुका है। पहाड़ों में भारी बारिश को देखते हुए प्रशासन ने पुल पर वाहनों और राहगीरों की आवाजाही पर रोक लगा दी है। साथ ही हिमाचल जाने के लिए रूट डायवर्ट किया है। जिसके चलते इस पुल से हिमाचल का संपर्क कट गया है।

वहीं, रूट डायवर्ट होने से लोगों को 20 किलोमीटर का अतिरिक्त चक्कर लगाकर हिमाचल का समय तय करना पड़ रहा है। वहीं, अवैध माइनिंग के चलते जर्जर हुआ रेलवे ब्रिज भी पिछले साल भारी बारिश में बह गया था। जिसके कारण रेलवे मार्ग भी बाधित है। वहीं, NHAI ने अलग-अलग विभागों पर धड़ल्ले से हो रही अवैध माइनिंग पर नकेल न कसने का आरोप लगाया है।

पिछले साल गिर गया था रेलवे पुल।

पिछले साल गिर गया था रेलवे पुल।

स्कूल जाने वाले बच्चों के लिए भी बनी मुसीबत
स्थानीय लोग और राहगीरों ने बताया कि हमें रोजाना अपने काम के लिए हिमाचल जाना पड़ता है, लेकिन अब पुल क्षतिग्रस्त होने के कारण प्रशासन ने आवाजाही पर रोक लगा दी है। जिसके चलते 20 से 30 किलोमीटर का सफर अधिक तय करना पड़ रहा है। स्थानीय व्यक्ति राकेश कुमार ने कहा कि यह मुसीबत तो सिर्फ बड़ों के लिए नहीं, बल्कि स्कूल जाने वाले बच्चों के लिए भी बनी हुई है।

वहीं, जम्मू से आई महिला उषा रानी ने बताया कि बच्चे की परीक्षा के लिए हिमाचल जा रहे थे, लेकिन यहां आकर पुल बंद होने की जानकारी मिली। हमें किसी और मार्ग से जाने के लिए कहा गया है। इससे हमारा समय तो खराब होगा ही अगर बच्चा परीक्षा में सही समय पर नहीं पहुंच सका तो उसकी साल भर की मेहनत भी खराब होगी।

लोगों की सुरक्षा के लिए बंद किया पुल
NHAI के अधिकारी हरप्रीत सिंह ने बताया कि इस पुल को लोगों की सुरक्षा के मद्देनजर बंद किया गया है, क्योंकि इस समय यह पुल क्षतिग्रस्त अवस्था में है। उन्होंने कहा कि पिछले साल जब 18 अगस्त को दरिया में पानी का तेज बहाव आया था तो इसके सामने जो पुराना रेलवे पुल था वह गिर गया था। उसी के साथ इस सड़क के पुल को भी भारी क्षति पहुंची थी।

रेलवे पुल का निर्माण करने के लिए खड़े किए जा रहे पिलर।

रेलवे पुल का निर्माण करने के लिए खड़े किए जा रहे पिलर।

तेज पानी के बहाव के कारण पिलर नंबर 1 एवं 2 के नीचे से मलबा खिसकने से नंगे हो गए हैं। जिसके बाद इस पुल की मरम्मत का कार्य शुरू कर दिया गया। उन्होंने कहा कि लेकिन लगातार माइनिंग के चलते यह पुल अपना वजूद नहीं बना पाया। जिसके कारण आज दोबारा इस पुल को लोगों के लिए बंद कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि इस नाजायज माइनिंग पर कोई भी डिपार्टमेंट एक्शन लेने के लिए तैयार नहीं हैं।

पुल को बचाने के लिए की जा रही पूरी कोशिश
क्योंकि यह रिवर हिमाचल एवं पंजाब के बॉर्डर पर बहती है। उन्होंने कहा कि लगातार माइनिंग के चलते दरिया में गहरे गड्ढे पड़ रहे हैं। जिसके कारण पुल को नुकसान हो रहा है। वहीं, उन्होंने कहा कि अब यह पुल पूरी तरह से अनसेफ है। हमारी तरफ से पूरी तरह कोशिश की जा रही है कि इस पुल को बचाया जाए, लेकिन अगर एक-दो बार पानी का और तेज बहाव आता है तो यह पुल पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो जाएगा।

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